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प्रिय पाठकों !
उत्तर प्रदेश या देश के अन्य राज्यों में ऐसे अनेकों विद्यार्थी हैं जो मुख्य धारा में आकर देश सेवा में अपना योगदान देना चाहते हैं परन्तु अधिक जानकारी न होने कारण सही मार्गदर्शन नहीं मिल पाता है | इसीलिए आज हम आपके लिए लोक सेवा क्या है ? उसका इतिहास क्या है ? आदि प्रश्नों के साथ उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग - UPPSC (Uttar Pradesh Public Service Commission) से जुडी कुछ जानकारी एकत्र करेंगें | जिससे यह ज्ञात हो कि यह कौन-कौन सी पप्रतियोगी परीक्षायें कराता है तथा उनका पाठ्यक्रम क्या हैं और इनका कार्य क्या है ?
लोक सेवा आयोग क्या है ?
लोक सेवा आयोग (Public Service Commssion) यह एक स्वतंत्र संवैधानिक संस्था है जो लोक सेवा पदाधिकारियों की नियक्ति के लिए परीक्षाओं का संचालन करता है | भारतीय संविधान के भाग 14 में अनुच्छेद 315 - 323 के अनुसार एक संघीय लोक सेवा आयोग तथा राज्य सेवा आयोग के गठन का प्रावधान है |
लोक सेवा का संक्षिप्त इतिहास
- प्रथम लोक सेवा आयोग की स्थापना 1 अक्टूबर, 1926 को हुई थी |
- पहले इसकी परीक्षा इंग्लैंड में हुआ करती थी और राजनीतिक माँगों में यह माँग की गयी कि इसकी परीक्षा भारत में ही हो |
- स्वतंत्रता के पश्चात संवैधानिक प्रावधानों के अनुसार 26 अक्टूबर, 1950 को लोक सेवा आयोग का गठन हुआ और इसका नाम बदल कर संघ लोक सेवा आयोग रखा गया | यह लोक सेवा आयोग केंद्र स्तर के सिविल सेवा पदाधिकारियों की नियुक्ति के लिए परीक्षाओं का संचालन करता है |
- भारत सरकार अधिनियम 1935 के तहत पहली बार प्रांतीय स्तर पर लोक सेवा आयोग का गठन किया गया जो राज्य स्तर के पदाधिकारियों की नियुक्ति के लिए परीक्षाओं का संचालन करेगा |
- संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) के अध्यक्ष की नियुक्ति और पदच्युति राष्ट्रपति द्वारा की जाती है।
- आयोग का मुख्यालय धोलपुर हाउस नई दिल्ली में है |
- संघ लोक सेवा आयोग के वर्तमान अध्यक्ष श्री अरविन्द सक्सेना हैं |
- इसकी स्थापना भारतीय संविधान के अनुच्छेद 315 के तहत की गयी है। इसमें एक अध्यक्ष और दस अन्य सदस्य शामिल होते हैं|
- आयोग के अध्यक्ष और सदस्य छह साल की अवधि तक अथवा 65 साल की उम्र पूरी होने तक अपने पद के कर्तव्यों का पालन करते है।
संवैधानिक शक्तियां लोक सेवा आयोग में अलग-अलग लेखों के आधार पर निहित की गई हैं।
- अनुच्छेद 315. संघ और राज्य के लिए लोक सेवा आयोग
- अनुच्छेद 316. सदस्यों की नियुक्ति और कार्यकाल
- अनुच्छेद 317. लोक सेवा आयोग के सदस्य को हटाना और निलंबित करना
- अनुच्छेद 318. आयोग के सदस्यों और कर्मचारियों की सेवा की शर्तों के अनुसार नियम बनाने की शक्ति
- अनुच्छेद 319. इस तरह के सदस्य होने के कारण आयोग के सदस्यों द्वारा कार्यालयों को रोकना।
- अनुच्छेद 320. लोक सेवा आयोग के कार्य
- अनुच्छेद 321. लोक सेवा आयोगों के कार्यों का विस्तार करने की शक्ति
- अनुच्छेद 322. लोक सेवा आयोगों का व्यय
- अनुच्छेद 323. लोक सेवा आयोगों की रिपोर्ट
उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग
- उत्तर प्रदेश लोक सेवा का गठन 1 अप्रैल, 1937 में हुआ था जिसका मुख्यालय प्रयागराज को बनाया गया था |
- शुरुआत के समय में यह आयोग तत्कालीन सचिवालय के कुछ कमरों में स्थापित था| पर बदलते समय के साथ अब यह एक भव्य परिसर में है तथा इसका एक कैंप मुख्यालय लखनऊ में भी है |
- 1937 में मात्र 9811 आवेदनों का निपटान किया गया था, वर्तमान में इसकी संख्या कई गुना बढ़कर लाखों हो गयी हैं |
- आयोग के काम की मात्रा में वृद्धि को ध्यान में रखते हुए आयोग के सदस्यों की संख्या भी धीरे-धीरे बढ़ी है और अब इसमें 8 सदस्य हैं।
- राज्य स्तर पर लोक सेवा आयोग के अध्यक्ष नियुक्ति तत्कालीन राज्यपाल द्वारा की जाती है |
- वर्तमान में उत्तर प्रदेश लोक सेवा अध्यक्ष सेवानिवृत आईएएस डॉ. प्रभात कुमार हैं |
उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग के कार्य -
यू.पी. लोक सेवा आयोग के कार्य को निम्नानुसार संक्षेपित किया जा सकता है: -
- अभ्यर्थियों की भर्ती
- केवल साक्षात्कार के आधार पर।
- स्क्रीनिंग टेस्ट और साक्षात्कार के आधार पर।
- केवल परीक्षा के आधार पर।
- केवल परीक्षा और साक्षात्कार के आधार पर।
- प्रारंभिक परीक्षा, मुख्य परीक्षा और साक्षात्कार के आधार पर।
- संबंधित सेवा नियम के अनुसार पदोन्नति द्वारा भर्ती।
- सरकार के अधीन सेवारत किसी व्यक्ति को प्रभावित करने वाले सभी अनुशासनात्मक मामलों पर राय प्रदान करने के लिए।
- सिविल सेवाओं और सिविल पदों के लिए भर्ती के तरीकों से संबंधित सभी मामलों पर राय प्रदान करने के लिए अर्थात् सेवा नियम बनाने में राय प्रदान करना।
- यूपी सरकार को राय प्रदान करना |
उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग की संरचना: -
उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग के अध्यक्ष के साथ कुल आठ सदस्य शामिल हैं |
आयोग द्वारा आयोजित परीक्षा :
आम तौर पर आयोग द्वारा निम्नलिखित परीक्षाएं आयोजित की जाती हैं, लेकिन अन्य परीक्षाओं के लिए आवश्यक पदों के अनुसार अन्य परीक्षाएं भी आयोजित की जा सकती हैं यदि उन्हें ऐसे पदों के सेवा नियमों में प्रदान किया जाता है।
1. संयुक्त राज्य / ऊपरी अधीनस्थ प्रारंभिक परीक्षा।
2. संयुक्त राज्य / ऊपरी अधीनस्थ मुख्य परीक्षा।
3. R.O / A.R.O प्रारंभिक परीक्षा (केवल आयोग के लिए)
4. R.O / A.R.O मुख्य परीक्षा (केवल आयोग के लिए)
5. सहायक अभियोजन अधिकारी परीक्षा
6. सहायक रजिस्ट्रार परीक्षा
7. संयुक्त राज्य इंजीनियरिंग परीक्षा।
8. यू.पी. न्यायिक सेवा (जूनियर डिवीजन) परीक्षा
उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग द्वारा गठित समितियाँ :
- परीक्षा / परीक्षा सुधार समिति
- सिलेबस कमेटी
- अनंतिम उम्मीदवारों से संबंधित मामलों का निर्णय करने के लिए समिति।
- कैंपस कमेटी
- आयु सीमा समिति
- कानूनी समिति
- साक्षात्कार समिति
- वार्षिक रिपोर्ट समिति
- पुस्तकालय समिति
अध्यक्ष द्वारा गठित समितियाँ :
- अनुशासनात्मक समिति
- नियम
- मानक विचलन समिति
- अस्वीकृति के खिलाफ अनुरोध
- तकनीकी समिति
- वरिष्ठता समिति
- दंड (शास्त्री) समिति।
Source : https://www.upsc.gov.in/
अभ्यास प्रश्न :
- लोक सेवा आयोग क्या है ? इसका गठन कब हुआ था ?
- उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग के क्या कार्य हैं ? किन्हीं चार कार्य लिखिए |
- उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग के वर्तमान अध्यक्ष कौन हैं, अध्यक्ष की नियुक्ति किसके द्वारा की जाती है ?
- यूपीपीएससी द्वारा संचालित किन्ही चार परीक्षाओं के नाम लिखिए |
- लोक सेवा आयोग के कार्यों का वर्णन संविधान के किस अनुच्छेद में किया गया है ?
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